महज 22 वर्ष की उम्र में अंजनी कुमारी ने मुखिया पद पर जीत दर्ज कर जिले के सबसे कम उम्र की मुखिया बनने का खिताब हासिल किया है। बनियापुर के रामधनाव पंचायत से जीतीं अंजनी जय प्रकाश विश्वविद्यालय में बीए पार्ट वन की छात्रा हैं।

युवा मुखिया अंजली पढ़ाई के साथ नेटवर्क मार्केटिंग का भी काम करती हैं। अंजली ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी आइसा देवी को 314 मतों से शिकस्त दी है। अंजनी को कुल 1653 मत मिले हैं। उनके निकटतम प्रतिद्वंदी अइसा देवी को 1339 मत प्राप्त हुए हैं।

सामान्य उम्मीदवारों के बीच अंजली अकेली थी अनुसूचित जाति की प्रत्याशी
अंजनी के चाचा व सामाजिक कार्यकर्ता प्रभुनाथ मांझी ने बताया कि रामधनाव पंचायत सीट सामान्य महिला के लिए था। कुल ग्यारह उम्मीदवार मैदान में थे। ग्यारह में दस उम्मीदवार सामान्य वर्ग से थे। बावजूद इसके जनता ने अनुसूचित जाति की लड़की पर भरोसा किया।

पंचायत का आधुनिक विकास करने को बताया प्रथम लक्ष्य
इस दौरान अंजनी ने अपनी जीत का श्रेय अपने चाचा प्रभुनाथ मांझी द्वारा किए गए सामाजिक कार्यो को दिया। बताया कि पंचायत की जनता ने मुझपर जो भरोसा जताया है, उसे टूटने नहीं दूंगी। पंचायत का सर्वांगीण विकास ही मेरा लक्ष्य है। सबसे कम उम्र की मुखिया होने के नाते युवा सोच के साथ पंचायत का समुचित आधुनिक विकास करना मेरा प्रथम लक्ष्य है। युवा सोच और अनुभवी सलाह के साथ रामधनाव पंचायत को जिले में सर्वोच्च करने के लिए दिनरात एक कर दूंगी।