एयर कनेक्टिविटी के मामले में बिहार आज भी दूसरे राज्यों से काफी पीछे हैं। लेकिन अब सरकार का ध्यान इस ओर जा रहा है क्योंकि राज्य में जो भी दो-तीन गिने-चुने एयरपोर्ट है वहां पर यात्रियों की भारी भीड़ देखी जा रही है। बड़ी संख्या में बिहार के लोग भी अब हवाई यात्रा कर रहे हैं। ऐसे में प्रदेश के कोने-कोने में एयरपोर्ट विकसित करने की तैयारी है। पटना हाई कोर्ट के एक निर्देश के बाद राज्य के मुख्य सचिव आमिर सुबहानी ने सोमवार को हवाई अड्डों के विस्तार को लेकर वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की।

बता दें कि फिलहाल बिहार में केवल तीन एयरपोर्ट का ही इस्‍तेमाल सार्वजन‍िक परिवहन के लिए हो पा रहा है। इनमें पटना, गया और दरभंगा के एयरपोर्ट शामिल हैं। भागलपुर, रक्‍सौल और गोपालगंज एयरपोर्ट को चालू करने के लिए मांग लगातार तेज हो रही है। वहीं बिहार के बिहटा में एयरफोर्स की हवाई पट्टी भी चालू हालत में है, लेक‍िन इसका केवल सैन्‍य इस्‍तेमाल ही होता है।

समीक्षा बैठक में वीडियो कान्फ्रेंस के जरिए कई जिलाधिकारी भी शामिल हुए। बैठक में गया, पटना, बिहटा और दरभंगा के साथ ही पूर्णिया, रक्सौल, भागलपुर, मुंगेर, गोपालगंज, मुजफ्फरपुर, सोनपुर और फारबिसगंज में हवाई अड्डा विकसित करने के निर्देश दिए। बैठक के दौरान मुख्य सचिव ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि जिन-जिन जिलों में हवाई अड्डा निर्माण की योजना प्रस्तावित है वहां जमीन अधिग्रहण से लेकर अन्य लंबित कार्यों को यथाशीघ्र पूरा करने के प्रयास हो।

इसके अलावा दरभंगा और बिहटा एयरपोर्ट को विकसित करने की योजना है जिसमें पटना से सटे बिहटा एयरपोर्ट को जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा(पटना एयरपोर्ट) के विकल्प के तौर पर विकसित किया जाना है।