बिहार में पूर्ण शराबबंदी है लेकिन इसी बीच एक बार फिर से पुरानी कहानी दोहराई गई है। गोपालगंज में तथाकथित शराब पीने से 4 लोगों की मौत हो गई है। वही दो की हालत नाजुक बनी हुई है। मुकेश राम सहित चार की जहरीली शराब से मौत के बाद राजनीति भी शुरू हो गयी है।

बैकुंठपुर से राजद विधायक प्रेम शंकर यादव ने इस घटना को लेकर जिला प्रशासन पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाया। राजद विधायक ने शराब माफिया के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने का आरोप भी प्रशासन पर लगाया। आरजेडी विधायक प्रेम शंकर यादव ने कहा कि पुलिस दोषियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करती बल्कि गरीब और असहाय लोगों को पकड़ती है और सिर्फ खानापूर्ति करती है। प्रशासन की इसी लापरवाही की वजह से यह घटना हुई है। राजद विधायक ने मृतक के परिजनों को मुआवजा दिए जाने की मांग की है।

वही जेडीयू के पूर्व विधायक व पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष मंजीत सिंह जिला प्रशासन और सरकार का बचाव करते दिखे। मंजीत सिंह ने कहा कि सरकार की मंशा साफ है कि बिहार में शराबबंदी लागू है और इसे हर हाल में सख्ती से लागू किया जा रहा है। इस घटना में जो भी दोषी होंगे उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। जदयू नेता मंजीत सिंह ने कहा कि जो भी दोषी होंगे उन्हें बख्शा नहीं जाएगा। फिलहाल दो लोगों को हिरासत में लेकर पुलिस पूछताछ कर रही है।

गौरतलब है कि गोपालगंज में जहरीली शराब से मौत का यह पहला मामला नहीं है। इसी साल फरवरी महीने में मुजफ्फरपुर के कटरा में 5 लोगों की मौत जहरीली शराब से हुई थी। मुजफ्फरपुर के मनिहारी में ही 26 फरवरी को 2 लोगों की मौत जहरीली शराब से हुई जबकि वैशाली के राजापाकर में एक व्यक्ति की मौत शराब पीने की वजह से हुई।



नवादा के अंदर भी 16 लोगों की मौत जहरीली शराब से होने की घटना हो चुकी है। पश्चिम चंपारण के लोरिया में इसी साल जुलाई महीने में 16 लोगों की मौत जहरीली शराब की वजह से हुई। बेगूसराय के बखरी में भी दो लोगों की जान जहरीली शराब से इसी साल होली के बाद जा चुकी है। 2021 में 13 अलग-अलग घटनाओं में जहरीली शराब से 66 लोगों की मौत बिहार में हो चुकी है।