• जबरन की जा रही थी नाबालिग की शादी
  • लड़की ने बाल आयोग में लगा दिया फोन
  • लड़की की शादी रुकी, गांववालों ने तोड़ा नाता

राजस्थान के कुछ क्षेत्रों में अभी भी बाल विवाह का चलन है और इसे बतौर एक परंपरा के तौर पर देखा जा रहा है. ताजा मामला उदयपुर के भूतिया गांव का है जहां पर सोमवार को नाबालिग लड़की की जबरन शादी करवाई जा रही थी. लेकिन उस लड़की ने ना सिर्फ शादी का विरोध किया बल्कि बाल आयोग में भी फोन लगा दिया. नतीजा ये हुआ कि वो शादी रोक दी गई लेकिन परिवार और गांव वालों ने लड़की से सारे रिश्ते-नाते तोड़ लिए.

लड़की ने खुद रुकवाया अपना विवाह

अभी के लिए बाल आयोग और पुलिस द्वारा परिवार को समझाने का प्रयास हो रहा है. खुद राज्य बाल संरक्षण आयोग की अध्यक्ष संगीता बेनिवाल भी मौके पर मौजूद हैं और परिवार को मनाने का प्रयास कर रही हैं. लेकिन परिवार और गांव के लोग मानने को तैयार नहीं हैं. वे लगातार सिर्फ इतना कह रहे हैं कि बाल विवाह उनके गांव की एक पुरानी परंपरा है और इस लड़की ने उस परंपरा को तोड़ दिया है.

परिवार ने तोड़ लिए नाते

अब लड़की को जिला बाल कल्याण समिति उदयपुर भेज दिया है. वहां पर उसका पूरा ध्यान रखा जा रहा है. लेकिन बाल आयोग की मानें तो बच्ची को इस समय अपने परिवार के साथ रहना जरूरी है. उसकी उम्र ज्यादा नहीं है, ऐसे में भविष्य को ध्यान में रखते हुए परिवार का अपनी बेटी को अपनाना काफी जरूरी हो जाता है.

वैसे इस मामले में लड़की का परिवार थोड़ा नरम पड़ा है. उनका कहना है कि गांव वालों ने उन्हें डरा रखा है. दवाब बनाया जा रहा है कि लड़की को नहीं अपनाना है. ये भी कहा गया है कि अगर लड़की को माफ कर दिया गया तो उनके परिवार संग सभी रिश्ते-नाते तोड़ दिए जाएंगे.

वैसे अब माता पिता तो नरम पड़े ही हैं, खुद बेटी भी अपने परिवार संग ही रहना चाहती है. अब क्योंकि दोनों राजी दिखाई पड़ रहे हैं, इसलिए पुलिस ने समझाने का प्रयास और ज्यादा तेज कर दिया है.