पूरे देश में लाखों लोग ट्रेन से यात्रा करते हैं। यह जितनी आरामदायक होती है, उतनी ही जेब के लिए भी अच्छी होती है। भारतीय रेलवे द्वारा यात्रियों को कई तरह की सुविधाएं दी जाती हैं। कई बार किसी भी वजह से ट्रेन लेट हो जाती है, जिससे लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। भारतीय रेलवे ट्रेन लेट होने पर पूरा रिफंड देता है लेकिन इसकी कुछ शर्तें हैं। जानें क्या कहता है भारतीय रेलवे का नियम?

पूरा पैसा वापस कैसे लें?

ट्रेन से सफर करने वाले कई लोग रिफंड की सुविधा के बारे में नहीं जानते। टिकट का पूरा पैसा पाने के लिए यात्री को रिफंड क्लेम करना होगा, जिसके लिए टिकट डिपॉजिट रसीद (Ticket Deposit Receipt या TDR) फाइल करनी होगी। यात्री आईआरसीटीसी (IRCTC) की अधिकारिक वेबसाइट पर या टिकट काउंटर पर जाकर टीडीआर (TDR) फाइल कर सकते हैं। हालांकि, रिफंड वाला पैसा मिलने में कम से कम 90 दिन लग जाते हैं।

टीडीआर फाइल कैसे करें?

व्यक्ति को सबसे पहले IRCTC की वेबसाइट पर जाकर लॉग-इन करना होगा।
‘Services’ के टैब में “File Ticket Deposit Receipt (TDR)” को चुनें।
इसके बाद, My Transactions में जाकर “File TDR” पर क्लिक करके आगे बढ़ें।
आपकी क्लेम रिक्वेस्ट रेलवे को भेजी जाएगी।
रिफंड का पैसा उसी बैंक अकाउंट में आएगा, जिससे व्यक्ति ने टिकट बुक की हो।

कब मिलता है रिफंड का पैसा?

भारतीय रेलवे के नियम के मुताबिक, ट्रेन लेट होने पर यात्री रिफंड के लिए क्लेम कर सकते हैं। ट्रेन अगर 3 घंटे से ज्यादा लेट होती है, तो यात्री द्वारा रिफंड के लिए क्लेम किया जा सकता है। हालांकि, कंफर्म तत्काल टिकट को कैंसिल करने पर किसी भी तरह का रिफंड नहीं दिया जाता।

इसका मतलब साफ है कि अगर ट्रेन 3 घंटे की देरी से चल रही है और यात्री इससे ट्रैवल करना नहीं चाहता तो वह रिफंड क्लेम करके पूरी रकम वापस ले सकता है। रिफंड क्लेम के लिए टिकट डिपॉजिट रसीद यानी TDR फाइल करनी होती है।

INPUT : NEWS 24