प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (PMJAY) को शुरू हुए 4 साल बीत गए हैं, इन चार सालों में हर महीने हितग्राहियों अथवा लाभार्थियों के लिए बनाए जाने वाले कार्डों ने इस महीने सभी रिकॉर्ड तोड़ दिये हैं. इस महीने 1.36 करोड़ आयुष्मान कार्ड बनाए गए हैं, जो योजना की शुरुआत के बाद से किसी भी महीने में सबसे अधिक है. इससे पहले मार्च 2021 में आयुष्मान कार्ड का आंकडा 1 करोड़ को पार करके 1.06 करोड़ तक पहुंचा था, हालांकि उस दौरान ‘आपके द्वार आयुष्मान’ नाम से एक विशेष अभियान चलाया गया था. यही नहीं, इस साल के अंत तक दावा भुगतान का आंकड़ा 50,000 करोड़ के पार जा सकता है. एक शीर्ष सरकारी अधिकारी ने न्यूज18 को बताया कि अब तक 48,720 करोड़ के मुफ्त चिकित्सकीय उपचार के दावों का निपटारा हो चुका है.

भारत में इस योजना के तहत 50 करोड़ से ज्यादा लाभार्थी आते हैं, जिनके परिवार को हर साल 5 लाख रुपए का मेडिकल इंश्योरेंस सरकार की ओर से दिया जाता है. योजना के तहत अभी तक करीब 20 करोड़ आयुष्मान कार्ड जारी किये जा चुके हैं. न्यूज 18 को शीर्ष सरकारी अधिकारियों से मिली जानकारी के मुताबिक, किसी को भी आयुष्मान कार्ड नहीं होने की सूरत में इलाज के लिए मना नहीं किया जा सकता है, बल्कि जब वह उपचार के लिए आता है, तभी उसका कार्ड बना दिया जाता है.

मनसुख मांडविया ने दिया बढ़ावा
पिछली जुलाई में स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया के नेतृत्व में इस योजना को गति मिली. पिछली जुलाई तक महज 11 करोड़ आयुष्मान कार्ड ही जारी हुए थे, यानी योजना लागू होने के 32 महीनों में यह आकंड़ा हासिल किया गया था. वहीं, मनसुख मंडावी के स्वास्थ्य मंत्री का पद संभालने के बाद महज 16 महीनें में यह आंकड़ा 20 करोड़ के पार पहुंच गया. स्वास्थ्य मंत्री ने मिशन मोड पर अधिकतम हितग्राहियों को आयुष्मान कार्ड जारी किए जाने पर विशेष ध्यान दिया.

सरकारी अधिकारियों का कहना है कि हमारा लक्ष्य है कि इस वित्तीय वर्ष के समाप्त होने तक हम 25 करोड़ का आंकडा पार कर लें. योजना के तहत हितग्राही परिवारों की पहचान सामाजिक आर्थिक जाति जनगणना (SECC) 2011 के आधार पर ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में अभाव और व्यवसायिक मानदंडों पर की गई है.

भाजपा शासित राज्य अव्वल
अधिकतम आयुष्मान कार्ड भाजपा शासित तीन राज्यों- मध्य प्रदेश (3.3 करोड़) उत्तर प्रदेश (2.3 करोड़) और गुजरात (1.63 करोड़) में जारी किए गए, इसके बाद छत्तीसगढ़ (1.6 करोड़) और कर्नाटक (1.17करोड़) का नंबर आता है. हालांकि, गैर भाजपा शासित राज्य जैसे तमिलनाडु (84 लाख), केरल (45 लाख), राजस्थान (39 लाख) में योजना के तहत अस्पताल में भर्ती होने वालों की संख्या सबसे ज्यादा रही.

हालांकि, आयुष्मान भारत-पीएमजेएवाय के लिए लक्ष्य निर्धारित नहीं है, क्योंकि यह योजना हितग्राहियों की मांग के आधार पर मुफ्त स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने के लिए संचालित की जाती है. योजना के तहत देश भर में अस्पतालों में होने वाले कुल दाखिला (भर्ती) 4 करोड़ के करीब रहा, जिसके लिए करीब 49,000 करोड़ के दावों का भुगतान कर दिया गया है.

Input: – News 18