तमिलनाडु में बिहारी मजदूरों पर हमले का फर्जी वीडियो वायरल करने के आरोप में गिरफ्तार यूट्यूबर मनीष कश्यप ( YouTuber Manish Kashyap) उर्फ त्रिपुरारी कुमार तिवारी पर एक और प्राथमिकी दर्ज की गई है. यह प्राथमिकी बिहार पुलिस की आर्थिक अपराध इकाई ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और एक धर्म विशेष पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने के आरोप में की है.

मनीष कश्यप के साथ ही उसके सहयोगी रवि पुरी और अमित सिंह को भी इसमें नामजद किया गया है. मनीष के खिलाफ ईओयू की ओर से दर्ज यह चौथा केस है. इसके अलावा, तमिलनाडु में भी मनीष के खिलाफ करीब आधा दर्जन केस दर्ज हैं.

बिहार पुलिस के मुताबिक, गुजरात के अहमदाबाद के निवासी सामाजिक कार्यकर्ता निशांत वर्मा द्वारा मनीष के खिलाफ कार्रवाई के लिए ईओयू में मामला दर्ज कराया गया था. निशांत सिन्हा ने ईओयू को एक पेन ड्राइव भी दिया, जिसमें विवादित वीडियो के अंश थे.

वीडियो में मनीष कश्यप, रवि पुरी और अमित सिंह आपत्तिजनक बातें कहते हुए दिख रहे हैं. ईओयू ने 3 अप्रैल को मामले में प्राथमिकी दर्ज कर आरक्षी निरीक्षक स्तर के पदाधिकारी को जांच की जिम्मेदारी सौंपी है. बता दें कि तमिलनाडु में बिहारी मजदूरों पर हमले का फर्जी वीडियो शेयर करने मामले में आरोपी मनीष कश्यप अभी तमिलनाडु पुलिस की कस्टडी में है.

पिछले सप्ताह तमिलनाडु पुलिस की टीम कोर्ट से प्रोडक्शन वारंट लेकर उसे अपने साथ ले गई थी. वहां मदुरई कोर्ट में पेश करने के बाद पुलिस की टीम उससे पूछताछ की है. रिमांड बढ़ाने के लिए भी आवेदन किया गया है. बुधवार को मदुरई अदालत पुलिस द्वारा मांगी गई 7 दिनों की रिमांड पर विचार करेगी.

मिली जानकारी के अनुसार, तमिलनाडु पुलिस ने कहा है कि मनीष कश्यप लैपटॉप, मोबाइल और कई डिजिटल एविडेंस अब तक बरामद नहीं किया जा सका है. ऐसे में उसको लेकर बिहार जाना है, इसलिए कम से कम 7 दिनों की रिमांड जरूरी है. अब सबकी निगाहें आज कोर्ट के फैसले पर टिकी हुई है कि कोर्ट का क्या फैसला आता है?

INPUT : NEWS 18